नीतीश की यात्रा को “अलविदा” नाम देकर खुद फंस गए तेजस्वी यादव

बिहार राजनीति
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पटना: बिहार विधानसभा चुनाव 2025 को लेकर राजनीतिक दलों के बीच आरोप-प्रत्यारोप का दौर जारी है। बिहार के पूर्व डिप्टी सीएम ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर कटाक्ष किया है। तेजस्वी यादव ने अपने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट किया। पोस्ट में तेजस्वी ने लिखा है कि दिन में अनेक बार अपनी यात्रा का नाम बदलने के बाद मुख्यमंत्री नीतीश कुमार अब प्रगति नहीं, बल्कि अलविदा यात्रा पर हैं। आज तक किसी भी प्रदेश के मुख्यमंत्री ने अपनी ही जनता से संवाद करने के लिए अरब करोड़ लाख रुपए फिजूल खर्च नहीं किए हैं।

तेजस्वी के इस पोस्ट के बाद बिहार भाजपा ने भी पलटवार किया है। बिहार के डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा ने बुधवार को आईएएनएस से बातचीत के दौरान कहा है कि तेजस्वी यादव विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष हैं और वह एक ऐसे पद पर बैठे हैं, वहां से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के लिए इस तरह की भाषा अशोभनीय है। यह उनकी हताशा और निराशा को दर्शाता है। तेजस्वी यादव राजनीति के निचले स्तर तक पहुंच गए हैं। एक्स पर पोस्ट कर उन्होंने इसके संकेत दे दिए हैं।

कांग्रेस नेता जयराम रमेश के केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह पर दिए बयान पर उन्होंने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के साथ पूरा एनडीए संविधान को लेकर समर्पित है। तेजस्वी यादव ने दूसरे पोस्ट में लिखा है कि बाबा साहेब अंबेडकर के चाहने वालों को स्वर्ग नहीं, स्वर अवश्य चाहिए। संविधान के शिल्पकार के प्रति ऐसी घृणित सोच भाजपा और आरएसएस की पाठशाला से ही पनपती है।

देश के 100 करोड़ से अधिक वंचित, उपेक्षित, उत्पीडित, शोषित, उपहासित, दलित, पिछड़े, गरीब, अल्पसंख्यक एवं समता, समाजवाद, धर्मनिरपेक्षता, बंधुता और संविधान में यकीन रखने वाले न्यायप्रिय लोगों के लिए बाबा साहेब अंबेडकर भगवान से भी कम भी नहीं है। बाबा साहेब ने करोड़ों लोगों को नारकीय जीवन से छुटकारा दिलाकर इसी जीवन में जीते-जी मोक्ष प्रदान कर दिया। संविधान निर्माता के प्रति केंद्रीय गृह मंत्री की ऐसी संकीर्ण सोच की हम निंदा तथा माफी की मांग करते हैं।

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